मुख्यमंत्री शिवराज ने बांटे लैपटॉप, कहा - अगले साल से CBSE के छात्रों को भी मिलेगा
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2003 तक मध्यप्रदेश में जब स्कूल जाते थे, तो हम पहले एक हाथ में बस्ता और एक हाथ में फट्टी दबाकर ले जाते थे। बैठने की व्यवस्था नहीं होती थी।
भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गुरुवार को राजधानी भोपाल में आयोजित प्रतिभाशाली विद्यार्थी सम्मान समारोह में प्रतिभाशाली विद्यार्थियों का सम्मान कर उनके बैंक खाते मेंलैपटॉप क्रय करने के लिए सिंगल क्लिक से प्रति विद्यार्थी 25-25 हजार रुपये की राशि अंतिरत की। इस दौरान मप्र माध्यमिक शिक्षा मंडल की कक्षा 12वीं की परीक्षा में 75 फीसदी या उससे अधिक अंक लाने वाले 78641 विद्यार्थियों के खातों में 196 करोड़ 60 लाख रुपये ट्रांसफर किए। मुख्यमंत्री चौहान ने कार्यक्रम में घोषणा करते हुए कहा कि अगले साल से सीबीएसई बोर्ड के लिए भी लैपटॉप देने की योजना लागू की जाएगी।
भोपाल के लाल परेड ग्राउंड पर दोपहर 12 बजे शुरू हुए इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री चौहान ने प्रतीक स्वरूप संभाग के टॉपर विद्यार्थियों को चेक प्रदान किए। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान प्रतिभाशाली बच्चों का सम्मान भी किया। इसके उपरांत मुख्यमंत्री शिवराज मंच से उतरे और पुष्पवर्षा कर कार्यक्रम में पधारे मेधावी छात्र-छात्राओं का स्वागत-अभिनंदन किया। उन्होंने कार्यक्रम में मौजूद विद्यार्थियों से सीधा संवाद भी किया। इस मौके पर स्कूल शिक्षा राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) इन्दर सिंह परमार, जनजातीय कार्य मंत्री मीना सिंह के अलावा स्कूल शिक्षा एवं जनजातीय कार्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे।
मुख्यमंत्री चौहान ने कार्यक्रम में विद्यार्थियों को आई लव यू कहकर अपने संबोधित की शुरुआत की। उन्होंने कहा कि मेरे बेटे-बेटियो, जैसे तुम्हारे मम्मी-पापा तुम्हारे उज्ज्वल भविष्य के लिए सोचते हैं, वैसे ही मैं भी दिन-रात तुम्हारे भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए सोचता रहता हूं। उन्होंने कहा कि टॉपर बच्चों ने मुझसे कहा कि मामा जी स्कूटी आपने एमपी बोर्ड को दी है, हमें नहीं दी। अब जितने टॉपर बच्चे हैं, उन्हें भी स्कूटी दी जाएगी। उन्होंने कहा कि आप विद्यार्थियों से सुझाव लेने के लिए पोर्टल बनवाएंगे। सुझाव दो, हम फिर किसी बहाने से मिलकर साथ बैठेंगे। मैं जब अपने भांजे- भांजियों के बीच होता हूं तो सबसे ज्यादा प्रसन्न होता हूं।
इस दौरान उन्होंने कांग्रेस पर भी जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की सरकार 2018 में आ गई थी, तो तीन साल तक लैपटॉप बंद कर दिए थे। बच्चों की फीस भरवाना भी बंद कर दी थी। अभी मैं तीन लाख बच्चों की फीस भरवा रहा हूँ, जबकि कांग्रेस ने फीस और लैपटॉप देना बंद कर तुम्हारा भविष्य अंधकारमय बनाने का पाप किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि 2003 तक मध्यप्रदेश में जब स्कूल जाते थे, तो हम पहले एक हाथ में बस्ता और एक हाथ में फट्टी दबाकर ले जाते थे। बैठने की व्यवस्था नहीं होती थी। स्कूल भवन टूटे-फूटे रहते थे। अब मामा के राज में बिजली में पढ़ रहे हो। एक जमाना था कांग्रेस का, तब शिक्षकों को 500 रुपये तनख्वाह मिलती थी। जब हमारी सरकार आई तो शिक्षकों को अध्यापक बनाकर सम्मान दिया। पुरानी कांग्रेस की सरकार ने जो गड़बड़ की, हमने ठीक करने की कोशिश की। Readmore